Chhattisgarh

धान के उठाव का सिस्टम बदलेगा: खरीफ सीजन 2021-22 में धान खरीदी की प्रक्रिया और चुनौतियों पर चर्चा के लिए आज मंत्रिमंडलीय उपसमिति की हुई पहली बैठक

पिछली बार तय समय पर खरीदी केंद्रों से धान नहीं उठा पाई थी सरकार, अब 72 घंटे की अनिवार्यता होगी खत्म

खरीफ सीजन 2021-22 में समर्थन मूल्य पर धान खरीदी के दौरान खरीदी केंद्रों से धान के उठाव का सिस्टम बदलेगा। आज मंत्रिमंडलीय उपसमिति की पहली बैठक में कुछ ऐसी ही चर्चा हुई है। तय हुआ है कि पिछली बार सरकार तय समय पर धान का उठाव नहीं कर पाई थी। ऐसे में धान उठाव के लिए बनाई गई 72 घंटे का समय बढ़ा दिया जाए।

खाद्य मंत्री अमरजीत भगत की अध्यक्षता में आज मंत्रिमंडलीय उपसमिति की बैठक सरगुजा कुटीर में हुई। इसमें वन मंत्री मोहम्मद अकबर, कृषि एवं जल संसाधन मंत्री रविंद्र चौबे, सहकारिता मंत्री डॉ. प्रेमसाय सिंह टेकाम और उच्च शिक्षा मंत्री उमेश पटेल शामिल हुए। इस दौरान खरीफ विपणन वर्ष 2020-21 में समर्थन मूल्य पर खरीदे गए 92 लाख मिट्रिक टन धान को खपाने और उसकी कस्टम मिलिंग पर बात हुई। मंत्रियों ने खरीदी केंद्रों में धान के जाम हो जाने की समस्या और उठाव में देरी पर बात की। तय हुआ कि खरीदी करने वाली समितियों से धान को 72 घंटे के भीतर उठा लेने की अनिवार्यता का पालन इस बार संभव नहीं हो पाया है। ऐसे में 72 घंटे की सीमा बढ़ाकर अधिक व्यावहारिक समय-सीमा तय की जाए। विधानसभा के मानसून सत्र में भी विपक्ष ने इस मुद्दे पर सरकार को घेरा था। भाजपा विधायकों का कहना था, धान का उठाव नहीं होने से सूखत बढ़ रही है। यह राष्ट्रीय क्षति है। पिछले सात महीनों से उठाव नहीं हुआ।

समितियों से उठा ही नहीं 29 अरब का धान

सहकारिता मंत्री डॉ. प्रेमसाय सिंह टेकाम ने विधानसभा में बताया था, प्रदेश के 22 जिलों में 15 लाख 67 हजार 784 टन धान का उठाव नहीं हो पाया है। इसकी कीमत 29 अरब, 44 कराेड़ 29 लाख 85 हजार 379 रुपए होती है। भाजपा विधायकों ने पूछा कि खरीदी के कितनी देर बाद तक धान को उठा लेने का नियम है। जवाब में मंत्री प्रेमसाय सिंह ने कहा, खरीदी के बाद 72 घंटे में उठाव का नियम है। लेकिन यह नियम तब बना था जब कम खरीदी होती थी।

कम्प्यूटर ऑपरेटरों का मानदेय बढ़ सकता है

बैठक में समितियों की माली हालत पर भी बात हुई। धान उपार्जन केन्द्र में कार्यरत कम्प्यूटर ऑपरेटरों के मानदेय के संबंध में भी चर्चा की गई। मंत्रीमंडलीय उप समिति ने इन कर्मचारियों के हित में सहानुभूतिपूर्वक विचार करने पर जोर दिया। संभावना जताई जा रही है कि कम्प्यूटर ऑपरेटरों का मानदेय बढ़ाया जाएगा।

बारदाने के विकल्पों पर अभी से काम

बैठक में खरीदी के दौरान बारदानों की कमी का मुद्दा उठा। मंत्रियों ने प्राथमिकता के साथ बारदाना की उपलब्धता पर जोर दिया। अधिकारियों को कहा गया, केन्द्रीय पुल से प्राप्त बारदानों के अतिरिक्त बारदानों की उपलब्धता के लिए अभी से प्रक्रिया शुरू करें। इसके लिए सभी संभव विकल्प तैयार रखने होंगे।

 

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